विशेष उद्देश्य तथा प्रयोजन सिद्धि हेतु गायत्री मंत्र का जाप (सम्पुट विधि)
शास्त्रों में प्रत्येक मंत्र को अति प्रभावकारी और फलदायी माना गया है, तथा प्रत्येक मंत्र की कुछ सीमाएं और परिमाप होता है और उनके लिए साधक को पूर्ण सावधानी रखने की आवश्यकता होती है | परन्तु अगर हम विशेष प्रयोजन की बात करे तो मंत्र जाप तभी सार्थक होता है जब किसी विशेष कार्य हेतु सम्पुट लगाकर तथा इच्छित संकल्प के साथ जाप किया जाये | साधको और मंत्र जाप करने वालों के लिए सम्पुट मंत्र कोई नया शब्द नहीं है, और जो नहीं जानते उनको मैं बता देता हूँ की सम्पुट मंत्र वह होता है जो किसी मंत्र के बाद बोला जाता है और हर मंत्र की पुनरावृति के साथ ही इस मंत्र का जाप होता है | इसे सम्पुट मंत्र कहते है |
यहाँ हम गायत्री मंत्र के साथ सम्पुट विधि से प्रयोजन सिद्धि के बारे में चर्चा कर रहे थे | गायत्री मंत्र वेदमाता गायत्री का मंत्र है और इस मंत्र को मनवांछित फल देने वाला तथा अति उत्तम माना गया है |
किसी विशेष उद्देश्य के लिए या अपना प्रयोजन सिद्ध करने हेतु गायत्री मंत्र का जाप इस विधि से करें:-
- सर्वप्रथम स्नानादि से निवृत होकर, स्वच्छ आसन लेकर पूर्व या उत्तर दिशा में मुख करके आसन पर बैठिये |
- अब सबसे पहले गायत्री मन्त्र का आवाह्न करे तथा जाप आरम्भ करे |
- तत्पश्चात जो भी कार्य आप करना चाहते है उसका संकल्प लेकर पूर्ण श्रृद्धा से माता भगवती गायत्री के चरणों में अर्पित कर देवें |
- अब जाप आरम्भ करे तथा गायत्री मंत्र के बाद आपने जो भी सम्पुट लिया है उसका पाठ करे और यह क्रम आपको प्रत्येक मंत्र के बाद दोहराना होगा |
कुछ विशेष और सर्वविदित सम्पुट जो प्रयोजन सिद्धि है, इस प्रकार है:-
सुख सम्पति की प्राप्ति के लिए (Mantra To Happiness & prosperity):-सुख सम्पति की प्राप्ति के लिए गायत्री मंत्र जाप के साथ साथ इस मंत्र को सम्पुट लगाकर श्रृद्धा से माता गायत्री का ध्यान करते हुए जप करना चाहिए |
सम्पुट मंत्र:-
!! ऊँ श्रीं ह्रीं श्रीं !!
संतान प्राप्ति के लिए (Mantra To Get Child):- जिन लोगों को संतान सुख प्राप्त नहीं हुआ है, या जिनको इच्छित संतान की कामना हो उन्हें इस मंत्र का सम्पुट गायत्री मंत्र के साथ प्रयोग करना चाहिए | और यह ध्यान रहे की जाप अर्थात मन्त्रों की संख्या प्रतिदिन समान रहे | सम्पुट मंत्र इस प्रकार है:-
सम्पुट मंत्र:-
!! ऊँ श्रीं ह्रीं क्लीं !!
विघ्न बाधा निवारण हेतु (Mantra To Get Rid From Disturbance And Interruption):- किसी भी प्रकार की विघ्न बाधा आने पर गायत्री मंत्र के साथ इस सम्पुट का उपयोग करने से माता भगवती की कृपा से सारे विघ्न दूर हो जाते है |
सम्पुट मंत्र:-
!! ऊँ ऐं हीं क्लीं !!
मनोकामना सिद्धि के लिए (Mantra To Fulfillment All Wishes):- मनोकामना सिद्धि प्राप्त करने हेतु गायत्री मंत्र के साथ इस मंत्र के प्रयोग से सारे मनोरथ पूरे हो जाते है | तथा माता गायत्री का श्रृद्धा पूर्वक ध्यान करना चाहिए |
सम्पुट मंत्र:-
!! ऊँ आं ह्रीं क्लीं !!
विद्या प्राप्ति हेतु मंत्र (Mantra To Getting Lore):- विद्या की प्राप्ति हेतु गायत्री मंत्र के साथ इस सम्पुट मंत्र का श्रृद्धा पूर्वक जाप करना चाहिए | जिससे की माता गायत्री की कृपा से विद्या प्राप्त होती है |
सम्पुट मंत्र:-
!! ऊँ ऍ ओम् !!
गायत्री मंत्र के सम्पुट जाप के बाद हवन करना परमावश्यक है, क्योकि हवन करने से पुण्यफल में दुगुनी वृद्धि होती है और हवनकर्ता से माता भगवती गायत्री अत्यंत प्रसन्न होती है और साधक पर उनकी अपार कृपा होती है |
गायत्री मंत्र का विधि विधान और बीज गायत्री मंत्र:- गायत्री मंत्र
Guruji namashkar...samput mantra aage bije dono jagah lagana he pls reply
ReplyDeleteGayatri mantra se pehle or badme dono me
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